न्यूजीलैंड और वेस्टइंडीज के बीच तीन टेस्ट मैचों की सीरीज़ का पहला मुकाबला क्राइस्टचर्च के हेगले ओवल में खेला गया, जो पाँच दिन के रोमांचक खेल के बाद भी किसी नतीजे पर नहीं पहुँच सका और ड्रॉ रहा। वेस्टइंडीज ने अपनी जुझारू और दमदार बल्लेबाजी से सभी का दिल जीत लिया, खासकर तब जब उन्हें जीत के लिए $\text{531 रनों}$ का विशाल लक्ष्य दिया गया था। न्यूजीलैंड की टीम इतना बड़ा टारगेट देने के बावजूद मैच नहीं जीत सकी, क्योंकि वेस्टइंडीज ने अपनी आखिरी पारी में $\text{163.3 ओवर}$ तक बल्लेबाज़ी करते हुए एक ऐतिहासिक ड्रॉ सुनिश्चित किया।
जस्टिन ग्रीव्स का दोहरा शतक: मैच का टर्निंग पॉइंट
मैच की आखिरी पारी में, न्यूजीलैंड ने वेस्टइंडीज के सामने $\text{531 रनों}$ का बड़ा पहाड़ खड़ा किया। वेस्टइंडीज ने शुरुआत में ही $\text{74 रन}$ पर $\text{4 विकेट}$ गंवा दिए थे, जिससे न्यूजीलैंड की जीत लगभग तय लग रही थी। लेकिन, बल्लेबाज़ जस्टिन ग्रीव्स और शे होप के इरादे कुछ और ही थे।
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होप और ग्रीव्स की साझेदारी: इन दोनों खिलाड़ियों ने पाँचवें विकेट के लिए $\text{196 रनों}$ की एक महत्वपूर्ण साझेदारी की और मैच का रुख बदल दिया। शे होप ने $\text{234 गेंदों}$ का सामना करते हुए $\text{140 रनों}$ की शानदार शतकीय पारी खेली।
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ग्रीव्स का जुझारू प्रदर्शन: होप के आउट होने के बाद, जस्टिन ग्रीव्स ने कमान संभाली और अंत तक क्रीज पर डटे रहे। उन्होंने $\text{388 गेंदों}$ का सामना किया और नाबाद 202 रन बनाए, जिसमें $\text{19 चौके}$ शामिल रहे।
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चोट के बावजूद डटे रहे: बल्लेबाज़ी के दौरान उन्हें हैमस्ट्रिंग की भी समस्या हुई, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और अपनी टीम के लिए क्रीज पर टिके रहे।
कीमार रोच का ऐतिहासिक अर्धशतक
ग्रीव्स को निचले क्रम में तेज़ गेंदबाज़ कीमार रोच का भरपूर साथ मिला। दोनों ने मिलकर सातवें विकेट के लिए $\text{180 रनों}$ की अटूट साझेदारी की, जिसने मैच ड्रॉ करवाने में निर्णायक भूमिका निभाई।
न्यूजीलैंड के नाम रही थी पहली पारी
मैच की शुरुआत में पहली पारी का खेल पूरी तरह से न्यूजीलैंड के नाम रहा था।
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वेस्टइंडीज ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाज़ी चुनी।
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न्यूजीलैंड ने पहली पारी में $\text{231 रन}$ बनाए, जिसमें केन विलियमसन ने सर्वाधिक $\text{52 रन}$ का योगदान दिया।
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जवाब में, वेस्टइंडीज की टीम अपनी पहली पारी में मात्र $\text{167 रन}$ बनाकर ढेर हो गई।
न्यूजीलैंड ने दूसरी पारी $\text{8 विकेट}$ के नुकसान पर $\text{466 रन}$ बनाकर घोषित की और $\text{530 रनों}$ की बड़ी बढ़त हासिल कर ली, लेकिन वेस्टइंडीज ने आखिरी पारी में अपनी जुझारू बल्लेबाजी से मुकाबला ड्रॉ करवा कर यह दिखा दिया कि टेस्ट क्रिकेट में हार मानने वाले नहीं हैं।